मध्य प्रदेश में ‘राहवीर योजना’ लागू: अब एक्सीडेंट के घायलों को अस्पताल पहुंचाने पर मिलेगा ₹25,000 का इनाम

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मध्य प्रदेश सरकार ने सड़क हादसों में घायल लोगों की जान बचाने के लिए ‘राहवीर योजना’ का ऐलान किया है। इस योजना के अंतर्गत यदि कोई नागरिक सड़क दुर्घटना में गंभीर रूप से घायल व्यक्ति को अस्पताल पहुंचाता है, तो उसे ₹25,000 का इनाम और प्रशंसा पत्र दिया जाएगा। साथ ही, उसे किसी भी प्रकार की कानूनी प्रक्रिया से भी मुक्त रखा जाएगा। आपकी जानकारी ले लिए बता दें की यह निर्णय मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव की अध्यक्षता में इंदौर कैबिनेट बैठक के दौरान लिया गया। और आज सिवनी मालवा के कार्यक्रम में सीएम मोहन यादव ने आधिकारिक तौर पर इसकी घोषणा भी की। 

केंद्र सरकार की योजना को एमपी में मिली हरी झंडी

हालांकि, राहवीर योजना का मूल प्रारूप केंद्र सरकार द्वारा प्रस्तावित किया गया था, लेकिन मध्य प्रदेश पहला राज्य है जिसने इसे इस स्तर पर व्यवहार में लाने का निर्णय लिया है। वर्षों से चली आ रही चर्चाओं और नीतिगत विचार-विमर्श के बाद इसे अब ज़मीनी हकीकत बनाने की घोषणा कर दी गई है।

सीएम मोहन यादव ने इस रहवीर योजना की आधिकारिक तौर घोषणा की और आज मध्य प्रदेश के सिवनी मालवा में आयोजित कार्यक्रम के दौरान इसकी घोषणा की इसके साथ अपने आधिकारिक सोशल मीडिया पर इसकी जानकारी शेयर की जिसे आपकी सुविधा के लिए हमने यहाँ साझा किया है आप देख सकते हैं।

क्या है योजना की ‘गोल्डन ऑवर’ वाली शर्त?

इस राहवीर योजनाका उद्देश्य सिर्फ मदद को प्रोत्साहित करना नहीं, बल्कि समय रहते मदद करना है। इसलिए इसके तहत कुछ ज़रूरी शर्तें तय की गई हैं। जैसे घायल व्यक्ति को दुर्घटना के बाद एक घंटे (Golden Hour) के भीतर अस्पताल पहुंचाना ज़रूरी है। अस्पताल में घायल का कम से कम 3 दिन भर्ती रहना ज़रूरी होगा। मरीज को सिर, रीढ़ की हड्डी, या अन्य गंभीर चोटें होनी चाहिए या ऑपरेशन की स्थिति बननी चाहिए। और यह स्पष्ट होना चाहिए कि समय पर अस्पताल न पहुंचता, तो जान को खतरा था।

लोगों की मानसिकता में लाएगा बदलाव

सड़क हादसों के समय अक्सर लोग घायलों की मदद करने से कानूनी पचड़ों, पुलिस पूछताछ और अस्पताल के फॉर्मेलिटी से डरते हैं। इसके कारण कई बार घायल व्यक्ति को वक्त पर इलाज नहीं मिल पाता और उसकी जान चली जाती है। राहवीर योजना इस डर को खत्म करने की दिशा में एक बड़ा कदम है। अब मदद करने वाले को न सिर्फ कानूनी सुरक्षा मिलेगी, बल्कि आर्थिक इनाम और सामाजिक सम्मान भी दिया जाएगा।

आज हमारे प्रदेश सहित पूरे देश में इस योजना की जरुरत है क्योंकि भारत में हर साल 4.5 लाख से ज्यादा सड़क हादसे होते हैं। इनमें से लगभग 1.5 लाख लोगों की मौत होती है, और रिपोर्ट्स के मुताबिक, इन मौतों में से 30% से ज्यादा को समय पर अस्पताल पहुंचाया गया होता तो जान बच सकती थी।

WHO (विश्व स्वास्थ्य संगठन) ने भी कहा है कि सड़क दुर्घटना के बाद के पहले एक घंटे (Golden Hour) में अगर प्राथमिक इलाज मिल जाए, तो 50% जानें बचाई जा सकती हैं।

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राहवीर: सिर्फ योजना नहीं, एक संदेश

मध्य प्रदेश सरकार द्वारा ‘राहवीर’ नाम खासतौर पर इसलिए रखा गया है ताकि यह संदेश जाए कि जो राह पर किसी को बचाता है, वही असली वीर है। यह राहवीर योजना न केवल लोगों को प्रोत्साहित करेगी, बल्कि ‘पहले मदद, बाद में पूछताछ’ की मानसिकता को मजबूत करेगी।

‘राहवीर योजना’ न केवल जान बचाने वाली एक नीतिगत पहल है, बल्कि यह समाज में मानवीयता और उत्तरदायित्व की भावना को मजबूत करने वाला कदम भी है। अब यदि आप किसी घायल की मदद करते हैं, तो आपको सिर्फ धन्यवाद नहीं, बल्कि सम्मान और इनाम भी मिलेगा।

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  • Uma Hardiya author

    मैं Uma Hardiya हूं। मैं मध्य प्रदेश और देश की नीतियों, योजनाओं और सामाजिक मुद्दों पर लिखती हूं। कोशिश रहती है कि बातें आसान तरीके से लोगों तक पहुंचें।

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